प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कर्मचारियों को वेतन नहीं मिलने के मामले पर राज्य की सुक्खू सरकार पर फिर निशाना साधा है।
हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कर्मचारियों को वेतन नहीं मिलने के मामले पर राज्य की सुक्खू सरकार पर फिर निशाना साधा है। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने बुधवार को समाचार एजेंसी एएनआई को बताया कि हिमाचल प्रदेश में आबादी के अनुपात में किसी भी अन्य राज्य से अधिक कर्मचारी हैं। इसलिए हमें इस बात को स्वीकार करना चाहिए कि हमारे बजट में किए गए प्रावधानों का एक बड़ा हिस्सा, लगभग 39-40 प्रतिशत पेंशन और वेतन में चला जाता है।
हर महीने 2000 करोड़ रुपये की देनदारी सरकारी कर्मचारियों और पेंशन धारकों की आती है। ऐसी स्थिति में आज 4 तारीख हो गई है लेकिन कर्मचारियों को वेतन नहीं मिला, पेंशन नहीं मिली। हम इस स्थिति को देखें तो राज्य वास्तव में आर्थिक रूप से बहुत बुरे दौर से गुजर रहा है और ऐसी स्थिति में सरकार के पास बहुत कम संसाधन हैं। कुछ ऐसे साधन हैं, जिनके माध्यम से राज्य को बाहर निकाला जा सकता है। जयराम ने कहा कि जिस तरह से मुख्यमंत्री लगातार डीजल के दाम बढ़ा रहे हैं, सीमेंट के दाम बढ़ा रहे हैं, राशन के दाम बढ़ा रहे हैं और तमाम चीजों में बढ़ोतरी कर रहे हैं, बसों का किराया बढ़ा रहे हैं और टैक्सियों पर टैक्स लगा रहे हैं, मुझे लगता है कि इसका बोझ गरीब लोगों पर नहीं पड़ना चाहिए।
मुझे लगता है कि आज की तारीख में जो भी कदम उठाने की जरूरत है, हमें उन क्षेत्रों की पहचान करनी चाहिए। जहां हम राजस्व बढ़ाने के लिए कदम उठा सकते हैं और फिजूलखर्ची को रोकने के लिए कदम उठा सकते हैं, उस दिशा में जाने की जरूरत है। लेकिन हकीकत यह है कि आज हिमाचल प्रदेश में आर्थिक दृष्टि से स्थिति बहुत कठिन है और हिमाचल बिल्कुल संकट में है। कहा कि मुख्यमंत्री सुक्खू का पूर्व सरकार व केंद्र सरकार को दोष देना ठीक नहीं है। मुख्यमंत्री आज आप हैं, आप जिम्मेदारी से नहीं बच सकते। आपकी जिम्मेदारी है कि प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों-पेंशनरों को समय पर वेतन व पेंशन मिले।